पंजीकृत सांस्कृतिक समिति 'संस्कार' - 'लाइफ टाइम अचीवमेंट अवार्ड, निष्काम सेवी सम्मान' आदि से सम्मानित डॉ हेम भटनागर जी के द्वारा 1981 में संस्थापित की गई। 'संस्कार' हिन्दी का प्रचार - प्रसार कर भाषा और संस्कारों को समृद्ध करने और बचाये रखने में अपना अतुलित योगदान देने के लिए हरदम प्रयासरत रहता है।
आज बतौर मुख्य अतिथि 'संस्कार वैभव' की गोष्ठी में शिरकत करने का अवसर प्राप्त हुआ।
वरिष्ठ साहित्यकार एवं 'काव्य किरण सम्मान', 'संगच्छध्वं हिंदी सम्मान' आदि कई पुरस्कारों से सम्मानित सुश्री मीना जैन जी की अध्यक्ष्यता में खूब उम्दा हास्य -व्यंग का आनंद लिया।
सर्वप्रथम दीप प्रज्ज्वलित कर इंद्रधनुषी परिधानों में सजी -संवरी सभी सदस्यों ने सरस्वती वन्दना से शुभारम्भ किया। मधुर गीत -संगीत, शानदार रचनाओं व कुशल संचालन द्वारा गोष्ठी अत्यंत सफल रही।
मीना जैन जी के अथक व सतत प्रयासों से 'संस्कार वैभव' नौ वर्षों से निरंतर प्रगतिशील है। अंत में लज़ीज़ भोजन व मेल -मिलाप करते हुए अगले माह की गोष्ठी तक के लिए सभी ने विदा ली।